जब पहला विवाह हुआ , अदन में ईश्वर ने
आशीष की बाते कही , आदम और हवा से
यो अब हमारे बीच के , विवाह में ईश्वर है
तीन आशीष देना चाहते , तेजवान पवित्र त्रिएक
यह दुल्हन तू हे पिता , दूल्हे के हाथ में दे
जैसे की पत्नी दी थी , आदम को तू ही ने
हे यीशु इनके हाथ और , ह्रदय भी अब तू जोड़
और दुःख – सुख कुशल रोग में , कभी उनको न छोड़
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